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अन्धं दरिद्रिणमपि प्रियया विहीनं

Pankaj Patel 0
अन्धं दरिद्रिणमपि  प्रियया विहीनं

अन्धं दरिद्रिणमपि प्रियया विहीनं
वीक्ष्येश्वरे वदति याच वरं त्वमेकम् ।
नेत्रे न् नाSपि वसुनो वनितां स वव्रे
छत्राSभिरामसुतदर्शनमित्युवाच ॥

भावार्थ :-

एक अन्धे भिखारी को जो पत्नी विहीन भी था, देखकर दयावश परमेश्वर (भगवान) ने उससे कहा कि तुम मुझसे एक वर मांग सकते हो (मैं तुम्हारी एक इच्छा पूरी कर दूंगा )। उस भिखारी ने जो नेत्रहीन था और उसकी पत्नी भी नहीं थी बडी चतुरतापूर्वक कहा कि भगवन् आप मुझे वर दीजिये कि मैं स्वयं अपने नेत्रों से अपने पुत्र को एक छत्रपति (उच्चपदस्थ अधिकारी या राजा ) के रूप में देख सकूं।

(प्रस्तुत सुभाषित सुभाषित रत्नाकर (स्फुट) में से लिया गया है। जिस मे एक भिखारी का चातुर्य परिलक्षित होता है कि उसने ऐसा वर मांग लिया जिस से उसका अन्धत्व तथा अविवाहित होना भी दूर हो जाय। यह एक स्मित-हास्य का सुन्दर उदाहरण है।

Andham daridrinamapi priyayaa viheenam.
vekshyeshvare vadati yaacha varam tvamekam.
Netrae na naapi vasuno vanitaam sa vavre,
chatraabhiraamasutadarshanamityuvaacha.

God Almighty by seeing a beggar who was blind and without a wife, by way of compassion told the beggar to ask only one boon to be fulfilled. The beggar cunningly asked the God to bless him with a son entitled to use a ceremonial umbrella (a high dignitary or a ruler) whom he should see through his own eyes.

(This Subhashita is an example of light humour, He cunningly asked for such a boon which could be fulfilled only when he gets married and his blindness is also removed . and it was actually a ‘three in one’ boon. )

Pankaj Patel

कक्षा 12 मे जीव विज्ञान पसंद था फिर भी Talod कॉलेज से रसायण विज्ञान के साथ B.sc किया। बाद मे स्कूल ऑफ सायन्स गुजरात युनिवर्सिटी से भूगोल के साथ M.sc किया। विज्ञान का छात्र होने के कारण भूगोल नया लगा फिर भी नकशा (Map) समजना और बनाना जैसी पूरानी कला एवम रिमोट सेंसिंग जैसी नयी तकनिक भी वही सीखी। वॉशिंग पाउडर बनाके कॅमिकल कारखाने का अनुभव हुआ तो फूड प्रोसेसिंग करके बिलकुल अलग सिखने को मिला। मशरूम के काम मे टिस्यु कल्चर जैसा माईक्रो बायोलोजी का काम करने का सौभाग्य मिला। अब शिक्षा के क्षेत्र मे हुं, अब भी मै मानता हूँ कि किसी एक क्षेत्र मे महारथ हासिल करने से अलग-अलग क्षेत्रो मे सामान्य ज्ञान बढाना अच्छा है। Follow his work at www.zigya.com

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