कविता को प्रभावी बनाने के लिए कवि विशेषणों का सायास प्रयोग करता है जैसे-अस्थिर सुख। सुख के साथ अस्थिर विशेषण के प्रयोग ने सुख के अर्थ में प्रभाव पैदा कर दिया है। ऐसे अन्य विशेषणों को कविता से छाँटकर लिखें तथा बताएँ कि ऐसे शब्द-पदों के प्रयोग से कविता के अर्थ में क्या विशेष प्रभाव पैदा हुआ है?
दग्ध हृदय (दग्ध दुःख की अधिकता बताता है।)
निर्दय विप्लव (निर्दय-विशेषण विप्लव की हृदय हीनता को दर्शाता है।)
ऊँचा सिर (ऊँचा-विशेषण गर्व भावना को दर्शा रहा है।)
घोर वज्र-हुंकार (वज्र हुंकार की सघनता को दर्शाने के लिए ‘घोर’ विशेषण का प्रयोग)।
अचल शरीर (शरीर ‘अचल’ बताकर उसे निश्चल बताया गया है।)
आतंक भवन (भवन को आतंक का केंद्र बताने के लिए ‘आतंक’ विशेषण)।
सुकुमार शरीर (शरीर की कोमलता दर्शाने के लिए बच्चे के शरीर को सुकोमल बताया गया है।)
जीर्ण बाहु
शीर्ण शरीर (शरीर की दुर्बल अवस्था के लिए जीर्ण-शीर्ण-विशेषण।)